AI कैमरों से कार्बेट पार्क में होगी वन्यजीवों की निगरानी

  • जंगलों से निकलकर बाहर आने वाले खूंखार जानवरों पर रखी जा सकेगी नजर 

रामनगर। कॉर्बेट टाइगर रिजर्व में मानव वन्य जीव घटनाओं को कम करने व वन्यजीवों की सुरक्षा के चलते पायलट प्रोजेक्ट के तहत दो एआई कैमरे लगाये गये हैं। इस कैमरों से जंगलों से निकलकर बाहर आने वाले खूंखार जानवरों पर नजर रखा जा सकेगी। साथ ही इससे मानव वन्यजीव संघर्ष की घटनाओं को कम किया जा सकेगा।

कॉर्बेट पार्क में वन्यजीवों की लगातार मूवमेंट वाले दो क्षेत्र चिह्नित किए गए हैं। जिसमें ढेला रेंज का बासिटीला, व गर्जिया क्षेत्र में ऐआई कैमरे लगाये गए हैं। जिससे खूंखार वन्यजीवों के आबादी क्षेत्र में आने से यह कैमरे अलॉर्म के साथ ही ग्रामीणों को भी बाघ ,लैपर्ड, हाथी आदि वन्यजीवों के बाहर आने पर अलार्म के साथ ही अनाउंसमेंट कर देते हैं। जिससे ग्रामीण अलर्ट हो जाएंगे।

जानकारी देते हुए कॉर्बेट टाइगर रिजर्व के उपनिदेशक दिगंत नायक ने बताया हमने ढेला रेंज के बासिटीला व गर्जिया क्षेत्र में यह आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई) कैमरे लागये हैं। उन्होंने बताया पायलट प्रोजेक्ट के तहत यह योजना कॉर्बेट पार्क से शुरू करने की मंजूरी मिली है। यह एआई कैमरा वन्यजीव के सामने आते ही न सिर्फ सायरन बजाकर ग्रामीणों को अलर्ट कर देंगे, बल्कि वन अधिकारियों को मैसेज के साथ संबंधित वन्यजीव की फोटो भी भेज देंगे। इसके लिए एआई कैमरे पर कार्य करने वाली वैलिएंस कंपनी के तकनीशियनों के साथ बीती छह जून को कॉर्बेट टाइगर रिजर्व की टीम ने बासीटीला गांव का जायजा लिया था।

एआई टेक्नोलॉजी का कैमरा लगा रही कंपनी के अस्सिस्टेंट डायरेक्टर पीयूष ने बताया एआई तकनीक वाले कैमरे में वन्यजीवों की तस्वीरें फीड की जाती हैं। कैमरे के सामने उस तस्वीर से मिलते-जुलते वन्यजीव के आने पर एआई कैमरा अपना कार्य शुरू कर देता है। साथ ही सायरन बजने लगता है। इससे आसपास रहने वाले ग्रामीण अलर्ट हो जाते हैं।

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