पशुपालन मंत्री ने लंपी रोग के बारे में दी जानकारी
देहरादून। प्रदेश के पशुपालन मंत्री सौरभ बहुगुणा ने लंपी रोग के विषय में जानकारी देते हुए कहा कि उत्तराखण्ड में अब तक कुल 20505 केस पंजीकृत किये गये हैं जिनमें से 8028 पूर्ण रूप से स्वस्थ हो चुके हैं और 341 पशुओं की लंपी रोग से मृत्यु हुई है। उन्होंने कहा कि लंपी रोग से स्वस्थ होने की दर 40 प्रतिशत तथा मृत्यु दर 1.6 प्रतिशत है। गुरुवार को पशुपालन मंत्री बहुगुणा ने पशुओं में फैल रहे लंपी रोग के संबंध में विधानसभा स्थित कक्ष में पशुपालन विभाग के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। पशुपालन मंत्री ने पशुओं के वैक्सीनेशन की जानकारी देते हुए कहा कि प्रदेश में लंपी रोग की मॉनीटरिंग के लिए सरकार की ओर से नोडल अधिकारी नियुक्त़ किये गये हैं। उन्होंने कहा कि हमारे पास 6 लाख टीके उपलब्ध हैं, 5 लाख 80 हजार टीके प्रदेश के विभिन्न जनपदों में वितरित किये जा चुके हैं तथा राज्य सरकार की ओर से 4 लाख टीकों का ऑर्डर दिया गया है। पशुपालन मंत्री ने पशुपालकों से निवेदन करते हुए कहा कि प्रत्येक पशुपालक को अपने पशुओं का बीमा अवश्य करवाना चाहिए जिससे किसी भी प्रकार की हानि होने पर पशुपालकों को उचित मुआवजा प्राप्त होगा। उन्होंने टोल फ्री नंबर 18001208862 जारी करते हुए कहा कि लंपी रोग के संबंध में जानकारी प्राप्त की जा सकती है। पशुपालन मंत्री ने एसओपी जारी करते हुए कहा कि सभी को लंपी रोग के बारे में जागरूक रहना होगा। उन्होंने कहा कि अन्य लंपी रोगग्रस्त क्षेत्रें से पशुओं के व्यापार पर पूर्णतः प्रतिबंध लगाया गया है। पशुपालन मंत्री ने कहा कि हरिद्वार तथा देहरादून लंपी रोग से सर्वाधिक प्रभावित जिले हैं जिनमें से हरिद्वार में 11350 तथा देहरादून में 6383 लंपी रोग के केस पंजीकृत किये गये हैं। पशुपालन मंत्री ने कहा कि केन्द्र सरकार ने लंपी रोग से बचाव हेतु वैक्सीनेशन व फण्डिंग से संबंधित सहायता समय पर उपलब्ध कराई है जिसके लिए हम केन्द्र सरकार का धन्यवाद करते हैं। बैठक में सचिव पशुपालन, डॉ बीवीआरसी पुरूषोत्तम, महानिदेशक सूचना विभाग बंशीधर तिवारी, अपर निदेशक पशुपालन विभाग डॉ लोकेश कुमार, संयुत्तफ़ निदेशक सूचना विभाग आशिष कुमार त्रिपाठी तथा अन्य विभागीय अधिकारीगण उपस्थित रहे।